जनवरी मार्च 2001

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पाठक मंच

अपनी ओर से

… लेकिन अवाम का इंसाफ अभी बाकी है

शिक्षा जगत

भुमण्‍डलीकरण की ताल और देशी-विदेशी पूंजी की संगत पर ”राष्‍ट्रीयता” ”भारतीयता” और ”नैतिकता” का पाठ सीखो / अभिनव

किन मुल्‍यों की घुट्टी पिलाना चाहते हैं एन.सी.ई.आर.टी के निदेशक !

शिक्षा को बाजारू माल बनाने के लिए बिड़ला-अम्‍बानी का नया फॉर्मूला / आदेश सिंह

मथूरा में फीसवृद्धि के खिलाफ छात्राओं का आन्‍दोलन / वीना, वन्‍दना, रंजना

विशेष लेख

एक सपने को टालते रहने से क्‍या होता है ! / सत्‍यम वर्मा

दुनिया जहान में

आजादी, स्‍वाभिमान और मानवीय गरिमा के लिए बहादूर फलस्तिनी छात्र-नौजवान एक बार फिर सड़कों पर / अरविन्‍द सिंह

होशियार! खबरदार!

संस्‍कृति के दरोगाओं का ‘संस्‍कृति रक्षा अभियान / मीनाक्षी

उत्‍तरप्रदेश : ”रामराज्‍य” में पूलिस हत्‍यारी और थाने वधस्‍थल बन चुके हैं / सुनील चौधरी

उन्‍हे डर है कि वे इतिहास की विषयवस्‍तु न बन जायें / कृष्‍णगोविन्‍द सिंह

विज्ञान और समाज

लीनस पॉलिंग : जनता को समर्पित एक महान वैज्ञानिक / खालिद

विज्ञान बनाम पोंगापंथ

पुस्‍तक परिचय

‘तरूणाई का तराना’ : क्रांतिकारी छात्रों-नौजवानों की शौर्यगाथा / विश्‍वनाथ मिश्र

साहित्‍य

कहानी / करोड़पति कैसे होते हैं : मैक्सिम गोर्की

कविताएं / नई सदी में भगतसिंह की स्‍मृति : शशिप्रकाश

 मैं पूछता हूं भगतसिंह : वेदप्रकाश बटूक , पाश : ज्‍वालामुखी

कौन मनुष्‍य और कौन नहीं… / मक्सिम तांक

उद्धरण

विविधा

अगर आपकी जिंस बोल सकती… / शिशिर

बोलते आंकड़े, चीखती सच्‍चाइयां

बेताल पच्‍चीसी

राजन! न्‍याय करने वालों के बारे में न्‍याय कौन करेगा?

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